लोकसभा चुनाव 2024 की तारीखों का ऐलान अगले हफ्ते हो सकता है। मीडिया में सूत्रों के हवाले से ऐसा बताया जा रहा है। दरअसल, चुनाव आयोग सोमवार से बुधवार तक जम्मू-कश्मीर का दौरा करने वाला है।
इस दौरान यह देखा जाएगा कि केंद्र शासित प्रदेश में इलेक्शन कब कराए जा सकते हैं। एनडीटीवी की रिपोर्ट के मुताबिक, जम्मू-कश्मीर के दौरे के तुरंत बाद आयोग लोकसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान कर सकता है। सूत्रों ने बताया कि आम चुनाव की घोषणा गुरुवार या शुक्रवार को हो सकती है। दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने पिछले दिसंबर में निर्वाचन आयोग को 30 सितंबर तक जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव कराने का निर्देश दिया था। माना जा रहा है कि इस केंद्र शासित प्रदेश में लोकसभा चुनाव के साथ असेंबली इलेक्शन कराए जा सकते हैं।
आम चुनाव से पहले देश भर में सुरक्षाकर्मियों की तैनाती और उनकी आवाजाही को लेकर चर्चा जारी है। इस मामले पर गृह मंत्रालय और रेल मंत्रालय के शीर्ष अधिकारियों के साथ ईसी ने शुक्रवार को बैठकें कीं। समझा जाता है कि निर्वाचन आयोग के शीर्ष अधिकारियों ने गृह मंत्रालय के अधिकारियों से आंध्र प्रदेश, ओडिशा, सिक्किम और अरूणाचल प्रदेश के विधानसभा चुनाव के साथ ही जम्मू कश्मीर में भी विधानसभा चुनाव कराने की संभावना पर चर्चा की। आंध्र प्रदेश, ओडिशा, अरूणाचल प्रदेश और सिक्किम की विधानसभाओं का कार्यकाल जून में अलग-अलग तारीखों पर समाप्त हो रहा है। ऐसे में यहां विधानसभा चुनाव लोकसभा चुनाव के साथ ही कराए जा सकते हैं।
आदर्श आचार संहिता से पहले बड़े-बड़े राजनीतिक वादे
मालूम हो कि चुनाव की घोषणा होते ही आदर्श आचार संहिता लागू हो जाएगी। इससे पहले राजनीतिक पार्टियां बड़े-बड़े वादे कर रही हैं और अलग-अलग प्रोजेक्ट्स का उद्घाटन किया जा रहा है। समझा जा रहा है कि अप्रैल-मई में लोकसभा इलेक्शन हो सकता है जिसे ध्यान में रखते हुए पॉलिटिकल पार्टियों की सक्रियता तेज हो गई है। केंद्र में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी और मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस समेत दूसरे दलों ने भी अपने उम्मीदवारों के नाम घोषित करने शुरू कर दिए हैं। जहां तक जम्मू-कश्मीर का सवाल है तो यहां लोकसभा चुनाव के बाद विधानसभा का चुनाव कराए जाने की मांग उठ रही है। डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव आजाद पार्टी (DPAP) के प्रमुख गुलाम नबी आजाद ने शनिवार को कहा कि केंद्र शासित प्रदेश के लोग और लंबा इंतजार नहीं कर सकते हैं। हमें उम्मीद है कि संसदीय चुनाव के तुरंत बाद इलेक्शन होंगे। उन्होंने यह भी कहा कि जम्मू-कश्मीर के राज्य का दर्जा बहाल किया जाना चाहिए।