रिपोर्ट: दिल्ली के 31 नए विधायकों पर आपराधिक मामले
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एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) ने दिल्ली विधानसभा चुनाव नतीजों के बाद जीते हुए उम्मीदवारों पर अपनी ताजा रिपोर्ट में कहा है कि 70 में से 31 विधायकों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं.दिल्ली विधानसभा के 70 में से 31 विधायक ऐसे चुने गए हैं जिन पर आपराधिक मामले दर्ज हैं. एडीआर की रिपोर्ट के मुताबिक आम आदमी पार्टी (आप) इस श्रेणी में सबसे ऊपर है, जिसके 68 प्रतिशत (15) विजयी उम्मीदवारों के खिलाफ आपराधिक मामले हैं, जबकि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के 33 फीसदी (16) नवनिर्वाचित विधायकों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं. 5 फरवरी को दिल्ली विधानसभा के लिए मतदान हुआ था और इसके नतीजे 8 फरवरी को घोषित हुए. इन चुनावों में सत्ताधारी आप को बीजेपी ने करारी शिकस्त दी और उसने 48 सीटों पर जीत दर्ज की, वहीं आप 22 सीटों पर सिमट गई है.
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 पर एडीआर की रिपोर्ट में बताया गया है कि जीतने वाले उम्मीदवारों में से 24 प्रतिशत (17) पर गंभीर आरोप हैं. आप विधायकों में से 45 प्रतिशत (10) और बीजेपी के नवनिर्वाचित विधायकों में से 15 प्रतिशत (7) पर ऐसे मामले दर्ज हैं, जो गैर-जमानती हैं. इनमें अधिकतम पांच साल या उससे अधिक की सजा हो सकती है. ये मामले हत्या, अपहरण और महिलाओं व बच्चों के खिलाफ अपराध जैसे गंभीर मामलों से जुड़े हैं.
कम जीते क्रिमिनिल रिकॉर्ड वाले नेता
पिछले विधानसभा चुनावों की तुलना में आपराधिक मामलों वाले विजेताओं का अनुपात 2020 में 61 प्रतिशत (43) से घटकर 2025 में 44 प्रतिशत (31) हो गया है. इसी तरह, गंभीर आरोपों का सामना करने वाले विधायकों की संख्या 2020 में 53 फीसदी (37) से घटकर इस साल 24 फीसदी (17) हो गई है.
एडीआर ने अपनी रिपोर्ट में जीते हुए उम्मीदवारों की शिक्षा पर विशलेषण किया है और पाया कि शिक्षा के मामले में 45 नए विधायकों के पास ग्रैजुएट स्तर या उससे अधिक की योग्यता है, वहीं 23 विधायकों के पास पोस्ट ग्रैजुएशन की डिग्री है और एक के पास डॉक्टरेट की डिग्री है. हालांकि 33 प्रतिशत (23) उम्मीदवारों ने अपनी शैक्षिक योग्यता 5वीं और 12वीं पास के बीच बताई है.
दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजों पर किसने क्या कहा
कम महिलाएं बनीं विधायक
इस बार दिल्ली विधानसभा चुनाव में कुल 96 महिला उम्मीदवार मैदान में थीं, जिनमें सिर्फ पांच विधानसभा पहुंचने में कामयाब रहीं. इस चुनाव में आप ने 9 और कांग्रेस ने 7 महिला उम्मीदवारों को टिकट दिया था, वहीं बीजेपी ने 9 महिला उम्मीदवारों को मैदान में उतारा था. बीजेपी की 8 महिला उम्मीदवारों में से 4 ने जीत हासिल की वहीं आप की सिर्फ एक महिला उम्मीदवार कामयाबी हासिल कर सकी, वह हैं दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री आतिशी मार्लेना. इस बार विधानसभा में केवल 7 प्रतिशत महिलाएं (5) ही निर्वाचित हो पाई हैं. 2020 के चुनाव में कुल आठ महिलाओं ने विधानसभा चुनाव जीता था.
1993 के बाद से केवल 44 महिला उम्मीदवार दिल्ली विधानसभा चुनाव जीत पाई हैं. सबसे अधिक संख्या 1998 में दर्ज की गई थी, जब नौ महिलाएं जीती थीं, जो कुल सीटों का 12.9 प्रतिशत था. हालांकि बाद के वर्षों में इस संख्या में उतार-चढ़ाव आया. साल 1993, 2008 और 2013 में तीन-तीन महिलाएं विधायक बनी थीं. वहीं 2015 के चुनाव में 6 महिलाओं ने जीत हासिल की और 2020 के चुनाव में 8 महिला विधायक बनीं.

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