चित्रकूट में छुट्टी होने के बाद दोपहर में बच्चों को स्कूल से छोड़ने वापस आ रही बस को रोककर पुलिस लाइन में खड़ी कराने के मामले को शासन ने संज्ञान लेते हुए संभागीय निरीक्षक प्राविधिक को निलंबित कर दिया है।जबकि एआरटीओ विवेक शुक्ल के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।मामला मंगलवार को दोपहर करीब सवा ग्यारह बजे का है। खोह में संचालित श्रीजी इंटरनेशनल कालेज की दो बसें छुट्टी होने के बाद स्कूल से बच्चों को लेकर वापस उनके घर छोड़ने कर्वी की तरफ आ रही थी। इन बसों में करीब 125 बच्चे सवार थे।बताते हैं कि पुलिस लाइन तिराहा के पास इन दोनों बसों को एआरटीओ प्रवर्तन विवेक शुक्ल की टीम ने रोक लिया और फिटनेस समाप्त हो जाने के कारण दोनो बसें वहीं पुलिस लाइन परिसर ले गए। जहां पर फायर सर्विस परिसर पुलिस लाइन में खड़ी करा दी। बस चालकों ने स्कूल प्रबंधन को अवगत कराया। स्कूल प्रबंधन ने अभिभावकों को बच्चों के थोड़ा बिलंब पहुंचने की सूचना वाट्सएप ग्रुपों पर शेयर किया। जब बच्चे करीब एक घंटे तक घर नहीं पहुंचे तो अभिभावकों ने स्कूल प्रबंधन के जरिए जानकारी लेकर काफी लोग पुलिस लाइन पहुंच गए। वहीं पर स्कूल प्रबंधन के लोग भी पहुंच गए थे। बाद में दोनो बसें चालान कर दोपहर करीब एक बजे छोंडी गई। इसके बाद ही बच्चे घर पहुंच पाए। करीब दो घंटे तक भूखे-प्यासे बच्चे पुलिस लाइन में ही परेशान रहे।बताते हैं कि दोनों बसों का फिटनेस प्रमाण पत्र संभागीय निरीक्षक प्राविधिक गुलाबचंद्र को संबंधित स्कूलों में जाकर बसों के फिटनेस चेक करेन के निर्देश दिए गए थे, लेकिन उन्होंने आदेशो की अवहेलना किया। जिसके चलते यह स्थिति उत्पन्न हुई और दोनों वाहनों का फिटनेस प्रमाण जारी नहीं हो पाया। इधर बसों को खड़ा कराने के मामले में कुछ अभिभावकों ने डीएम को फोन कर अवगत कराया। इसके साथ ही सोशल मीडिया प्लेटफार्म में मामला वायरल होने पर शासन ने भी इसका संज्ञान लिया। डीएम ने इस पूरे मामले की रिपोर्ट शासन को उपलब्ध कराई।फलस्वरूप शासन ने संभागीय निरीक्षक प्राविधिक गुलाबचन्द्र को प्रथम दृष्टया उत्तरदायी पाये जाने के कारण उनके विरूद्ध अनुशासनिक कार्यवाही संस्थित करते हुए तत्काल प्रभाव से निलम्बित कर दिया है। जबकि सहायक संभागीय परिहन अधिकारी (प्रवर्तन) विवेक कुमार शुक्ला के विरूद्ध भी अनुशासनिक कार्यवाही संस्थित की गई है।